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Mon. Jul 7th, 2025

‘कांटा लगा गर्ल’- 27 जून 2025 को मनोरंजन जगत ने एक चमकता सितारा खो दिया। मशहूर मॉडल और एक्ट्रेस शेफाली जरीवाला, जिन्हें पूरे देश ने ‘कांटा लगा गर्ल’ के नाम से पहचाना, अब इस दुनिया में नहीं रहीं। महज 42 वर्ष की उम्र में उन्हें कार्डियक अरेस्ट आया और उन्होंने अपनी अंतिम सांस ली। उनका जाना न सिर्फ उनके परिवार और करीबी दोस्तों के लिए एक गहरा आघात है, बल्कि लाखों प्रशंसकों के लिए भी किसी सदमे से कम नहीं।

“कांटा लगा”-

शेफाली ने 2002 में आए म्यूजिक वीडियो “कांटा लगा” से जो लोकप्रियता पाई थी, वह आज भी लोगों की यादों में ताजा है। कम उम्र में मिली यह शोहरत उन्हें एक आइकॉन बना गई। उस दौर में जब म्यूजिक वीडियोज़ को ज्यादा सीरियसली नहीं लिया जाता था, “कांटा लगा” ने एक क्रांति की तरह काम किया। शेफाली का स्टाइल, उनका आत्मविश्वास और उनका एक्सप्रेशन – सब कुछ युवाओं के बीच ट्रेंडसेटर बन गया।

उनकी लोकप्रियता का आलम यह था कि उन्हें फिल्म इंडस्ट्री और टेलीविजन की दुनिया से भी खूब ऑफर मिले। उन्होंने ‘नच बलिए’, ‘बिग बॉस’ जैसे रिएलिटी शोज़ में हिस्सा लिया और दर्शकों के दिलों में अपनी खास जगह बनाई। पर उनके लिए ‘कांटा लगा’ सिर्फ एक गाना नहीं, बल्कि उनकी पहचान था – और वे चाहती थीं कि वह पहचान हमेशा कायम रहे।

पॉडकास्ट में किया था खुलासा –

शेफाली ने पिछले साल एक पॉडकास्ट इंटरव्यू में खुलासा किया था कि उनकी सबसे बड़ी ख्वाहिश यह है कि लोग उन्हें आखिरी सांस तक “कांटा लगा गर्ल” के रूप में ही याद रखें। उन्होंने भावुक होकर कहा था कि यही गाना उन्हें इस मुकाम तक लेकर आया और उन्होंने जो कुछ भी पाया, वह इसी वजह से पाया। उन्होंने कहा था – “अगर एक दिन मैं नहीं रहूं, तो लोग मुझे इसी नाम से याद करें, यही मेरी सबसे बड़ी पहचान है।”

उनकी इसी अंतिम इच्छा को सम्मान देने के लिए ‘कांटा लगा’ के निर्देशक जोड़ी राधिका राव और विनय सप्रू ने हाल ही में बड़ा एलान किया है। दोनों ने कहा है कि अब वे इस गाने का कभी भी कोई रीमेक या सीक्वल नहीं बनाएंगे। उनका कहना है कि शेफाली ही इस गाने की आत्मा थीं, और अब जब वह नहीं रहीं, तो इस गाने को दोबारा छूना उचित नहीं होगा।

राधिका राव और विनय सप्रू ने मीडिया से बात करते हुए कहा, “शेफाली के बिना कांटा लगा अधूरा है। उन्होंने इस गाने को जो आत्मा दी थी, वह दोहराई नहीं जा सकती। हम उनकी आखिरी इच्छा का सम्मान करते हुए यह वचन देते हैं कि ‘कांटा लगा’ अब वहीं रहेगा – इतिहास में अमर।”

अहमियत

यह फैसला न केवल शेफाली के प्रति सम्मान का प्रतीक है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि फिल्म और म्यूजिक इंडस्ट्री में भावनाओं और रिश्तों की भी अहमियत होती है। जहां आजकल रीमिक्स और सीक्वल्स का चलन आम हो गया है, वहां यह निर्णय एक मिसाल के रूप में देखा जा रहा है।

शेफाली जरीवाला का जाना एक युग का अंत है, लेकिन उनकी मुस्कान, उनका आत्मविश्वास और उनकी ‘कांटा लगा’ गर्ल वाली छवि हमेशा दिलों में जिंदा रहेगी। उन्होंने जो चमक छोड़ी है, वह आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेगी।

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